दरख़्त के मर्यादा (Decorum of the Tree)
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मर्यादा (Decorum) |
फूलों ने भी सिख लिया,
दरख़्त के साथ मर्यादा निभाना |
मानव जीवन एक कठपुतली हैं ,
मर्यादा का पाठ पढ़ना सीखो,
जिंदगी के हर पहलू पर ,
मर्यादा का निर्यात होगा |
जिंदगी किस लिए, जीवा किस लिए,
दो दिन की जिंदगी संवार कर रखना सीखो ,
लक्ष्मण का सीखो , सीखो अग्रज राम का,
क्यों विचलित होते हो पथ से,
क्या खो गया वन पथ में,
क्या लाए हो, क्या ले जाओ गे,कुछ तो देना सीखो,
दो दिन दिन की जिंदगी |
क्यू काटते हरित वृक्ष को,
कुछ तो बोना सीखो,
पीपल भी वर्षों रहना सीखा,
कुछ तो उनसे लेना सीखो
दो दिन की जिंदगी संवार कररखना सीखो |
BY-R.S PANDEY
3 Comments
Up to the mark👌
ReplyDeletethanks
DeleteThnq
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